उच्च प्राथमिक अनुदेशक शिक्षक वेलफेयर एसोसिएशन उत्तर प्रदेश के तत्वाधान में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए जिला पदाधिकारियों की बैठक की गई जिसकी अध्यक्षता प्रदेश अध्यक्ष तेजस्वी शुक्ला ने किया प्रदेश अध्यक्ष ने संबोधित करते हुए कहा कि प्रतापगढ़ जनपद में कार्यरत अंशकालिक अनुदेशकों के सत्र 2020- 21 में 12 अनुदेशकों के नवीनीकरण छात्र संख्या के आधार पर रोका गया है क्योंकि न्याय के सिद्धांत के विपरीत है प्रदेश अध्यक्ष ने बताया कि उच्च प्राथमिक विद्यालयों में कार्यरत अंशकालिक अनुदेशकों के नवीनीकरण में प्रस्तर- 6 में दी गई व्यवस्था अनुसार नवीनीकरण नहीं किया जा रहा है बल्कि वर्ष 2010-11 के सप्लीमेंट्री प्लान में भारत सरकार द्वारा छात्र संख्या 100 से अधिक के आधार पर विद्यालयों का चयन कर उसके सापेक्ष पद का निर्धारण किया गया था
जिसके सापेक्ष कुल विद्यालयों में अनुदेशकों की तैनाती की गई थी लेकिन विभाग द्वारा इसका गलत उल्लेख कर शासनादेश की धज्जियां उड़ाते हुए अनुदेशकों के नवीनीकरण में छात्र संख्या की बाध्यता को लागू कर अनुदेशकों का आर्थिक और मानसिक शोषण का जरिया बनाते हुए उनको बेरोजगार करने का कार्य विभाग द्वारा किया जा रहा है जो कि न्याय के सिद्धांत के विपरीत है जबकि भर्ती शासनादेश में स्पष्ट रूप से दिया गया है कि अनुदेशकों के नवीनीकरण की प्रक्रिया प्रस्तर-6 में दी गई व्यवस्था अनुसार नवीनीकरण की कार्यवाही संपादित किया जाना स्पष्ट उल्लेखित है अनुदेशक भर्ती के शासनादेश में कहीं उल्लेखित यह नहीं है कि छात्र संख्या 100 कम हो जाने पर इनको निकाल दिया जाएगा बल्कि पूरे प्रदेश में यह चीज कहीं नहीं लागू है सिर्फ यह नियम प्रतापगढ़ जनपद के बाबू के द्वारा लागू कर मनमाने तरीके से अनुदेशकों को बेरोजगार किया जा रहा है!
इस संबंध में प्रदेश अध्यक्ष ने बताया कि राज्य परियोजना निर्देशक को पत्र लिखकर मांग किया गया है कि प्रतापगढ़ जनपद में हो रहे शोषण को रोका जाए साथ ही सर्व शिक्षा अभियान एक कार योजनाओं को संचालित करने के लिए जिला समन्वयक की नियुक्ति की गई है तो ऐसी स्थिति में अनुदेशकों का कार्य बेसिक के बाबू को ना देकर बल्कि सर्व शिक्षा अभियान में तैनात जिला समन्वयक को दिया जाए। इस मौके पर जिला महासचिव अखंड प्रताप सरोज सचिव अंकित सिंह उपाध्यक्ष महेंद्र कनौजिया अंकित सिंह प्रवीण कुमार मिश्रा आदि पदाधिकारी मौजूद रहे।
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