1- *एमएचआरडी अपने काउंटर में राज्य सरकार के काउंटर का समर्थन किया है इसका सीधा सा अर्थ है कि राज्य सरकार जो 10000 मानदेय दे रही है उसी बात का उन्होंने समर्थन किया है*
एमएचआरडी के वकील से यही पूछा जाए कि 25 जुलाई 2017 के जजमेंट में समायोजन निरस्त किया गया और उसी आधार पर राज्य सरकार द्वारा नई नियुक्ति करके सहायक अध्यापक का वेतन देने की मांग की गई थी लेकिन एनसीटी और एमएचआरडी ने सहायक अध्यापक के पद को सही क्यों नहीं माना और सहायक अध्यापक का वेतन जारी न करके नया संवर्ग अपग्रेड पैरा टीचर का नाम देकर प्रशिक्षित टीचर का वेतन जारी क्यों किया गया और अब प्रशिक्षित टीचर (अपग्रेडेड पैरा टीचर) का वही वेतन देने की मांग की जा रही है तो किस आधार पर राज्य सरकार द्वारा जारी किए गए 10000 मानदेय का समर्थन कर रहे हैं तो एमएचआरडी के वकील बताएं की प्रशिक्षित वेतन देने के मामले में आपकी बात सही है या राज्य सरकार द्वारा बनाए गए सहायक अध्यापक का वेतन देने का आदेश सही है
२ *- एनसीटीई ने 14 जनवरी 2011 के पत्र में दूरस्थ बीटीसी का प्रशिक्षण प्रदान करने के लिए अनट्रेंड टीचर अनट्रेंड ग्रेजुएट शिक्षामित्र मानकर प्रशिक्षण कराया तो प्रशिक्षण पूरा होने के बाद इनकी स्थिति प्रशिक्षित टीचर प्रशिक्षित स्नातक शिक्षामित्र होगी तो उन्हें प्रशिक्षित वेतनमान (अपग्रेड पैरा टीचर) का दिया जाए। और अभी तक एनसीटी का काउंटर न आने के कारण इस बात को कोर्ट स्वीकार करेगी और केस को मजबूती प्रदान मिलेगा।*
३- *राज्य सरकार अपने काउंटर में विभिन्न शासनादेश के तहत 6 लोगों के प्रशिक्षण की बात स्वीकार की है और राज्य सरकार 3 जनवरी 2011 के पत्र में अनट्रेंड टीचर मानकर प्रशिक्षित कराया।*
प्रशिक्षित होने के बाद उनकी स्थिति प्रशिक्षित टीचर (प्रशिक्षित स्नातक शिक्षामित्र) की होगी या शिक्षामित्र (जिसकी मूल योग्यता इंटर थी)
प्रशिक्षित स्नातक शिक्षामित्र की योग्यता समायोजन से पूर्व स्नातक + बीटीसी थी तो किस आधार पर 20 सितंबर 2017 के शासनादेश के तहत पुनः सबको एक कैटेगरी में रखते हुए मूल स्थिति में रख दिया गया जबकि 25 जुलाई 2017 के जजमेंट में शिक्षामित्रों की दो कैटेगरी निर्धारित है 124000 अप्रशिक्षित स्नातक शिक्षामित्र एवं 46,000 इंटर पास शिक्षामित्र।
जब राज्य सरकार मृतक आश्रित की नियुक्ति अनट्रेंड टीचर के रूप में करती है और अपने शासनादेश में लिखती है कि इनको बिना प्रशिक्षित किए हुए प्रशिक्षित वेतनमान नहीं दिया जाएगा और अनट्रेंड टीचर के रूप में नियुक्त लोगों को प्रशिक्षित होने के बाद प्रशिक्षित वेतनमान दिया जायेगा तो फिर आरटीई एक्ट 2009 के मानक अनुसार शिक्षामित्र को अनट्रेंड टीचर मानकर प्रशिक्षण पूरा कराने के बाद उनको प्रशिक्षित वेतनमान क्यों नहीं दे रही है
सभी पैरवी कर अपने अपने वकील को इस बात से अवगत कराएं।
सुखदेव सिंह मैनपुरी
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