उत्तर प्रदेश में फैल रही धीरे-धीरे कोरोना महामारी को लेकर राज्यपाल उत्तर प्रदेश ने उद्घोषणा पत्र जारी कर दिया है। इस पत्र में राज्यपाल महीने उत्तर प्रदेश को कोरोनावायरस से ग्रसित होने का घोषणा पत्र जारी किया है
Wednesday 31 March 2021
पंचायत चुनाव में दंपति कार्मिकों को राहत :निर्वाचन आयोग
त्रिस्तरीय पंचायत सामान्य निर्वाचन 2021 में दंपति कार्मिकों को निर्वाचन आयोग ने राहत प्रदान करते हुए किसी एक को पंचायत चुनाव ड्यूटी से मुक्त रखने का आदेश जारी किया है। इस आदेश के अनुसार यदि पति पत्नी दोनों की ड्यूटी पंचायत चुनाव में लगी है तो उनमें से किसी एक को इस ड्यूटी से मुक्त किया जा सकता है।
साथ ही निर्वाचन आयोग ने बूथों पर महिलाओं की अनिवार्यता को भी समाप्त कर दिया है। इस प्रकार दंपत्ति कार्मिकों को बहुत अधिक लाभ हुआ है। इसकी वजह से घर पर बच्चों के पास रात भर माँ बाप में से कोई एक उनके पास सुरक्षा हेतु रहेंगे।
Thursday 25 February 2021
शिक्षामित्र महापंचायत की बैठक जल्द। अब आंदोलन से लेना होगा अपना हक : क्रांति
शिक्षा मित्रों की महापंचायत उत्तर प्रदेश पश्चिम
उत्तर प्रदेश के सभी शिक्षामित्र साथियों को महापंचायत में सादर आमंत्रित करती है और शिक्षामित्र की समस्याओं के संबंध में चर्चा परिचर्चा करने हेतु एक बैठक का आयोजन 14 मार्च को जिला मेरठ में होना प्रस्तावित हुआ है इस महापंचायत में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के प्रत्येक जनपद से 10 -10 शिक्षामित्रों को अनिवार्य रूप से प्रतिभाग करना है
साथियों वर्तमान की सरकार की नीति और नियत को देखते हुए महापंचायत के सदस्यों द्वारा निर्णय लिया गया है कि अब बहुत हो चुका नेताओं के साथ वार्तालाप बहुत हो चुकी शिक्षामित्रों की सहनशीलता का परिचय हमारे शिक्षामित्र साथियों द्वारा समय-समय पर अपना धैर्य का और कर्तव्यों का पालन किया गया वर्तमान सरकार के सांसद और नेताओं का भलीभांति से सम्मान किया गया लेकिन इन सरकार द्वारा हमारे शिक्षा मित्रों के साथ लगातार छल और कपट और कूटनीति के अलावा कुछ नहीं किया
जैसा कि साफ स्पष्ट हो चुका है कि नई शिक्षा नीति के तहत किसी भी विभाग में कोई भी संविदा कर्मचारी नहीं होगा इससे यह भी स्पष्ट होता है कि आने वाले दिनों में शिक्षामित्रों को और कष्ट झेलना पड़ सकता है इससे पहले कि सरकार कोई ठोस कदम हमारे लिए उठाए जिससे हमारे शिक्षा मित्रों को हानि पहुंचे पहले ही हम सब लोगों को एक साथ एक ताकत होकर इस पर चर्चा परिचर्चा कर लेनी चाहिए ताकि समय रहते हम अपनी मांगों को सरकार के सम्मुख रख सके और अपने शिक्षामित्रों के हितों की रक्षा कर सके
साथियों महापंचायत का उद्देश्य केवल शिक्षामित्रों के हितों की रक्षा करना है पहले भी मेरठ में हमारे द्वारा महापंचायत का आयोजन किया गया था लेकिन कुछ तथाकथित नेताओं द्वारा महापंचायत को बदनाम करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी थी इस बार हम सभी शिक्षामित्र भाइयों को कमर कस लेनी है और एक बड़ा आंदोलन की तैयारी की जा रही है ये आन्दोलन अप्रैल माह से पहले होना है।
इस आंदोलन की रूपरेखा को भली भांति से तैयार किया जा रहा है और वरिष्ठ नेताओं के सूझबूझ और समझदारी के तहत तैयार किया जा रहा है इस बार इस आंदोलन को आखिरी आंदोलन समझ कर पुनः एक बार आप लोगों को भारी संख्या में प्रतिभाग करने हेतु बैठक का आयोजन महापंचायत के रूप में किया जा रहा है साथियों इसमें मुझे आप लोगों को यह भी बताना है इसमें हमारे साथ भारतीय किसान यूनियन के प्रवक्ता राकेश टिकैत जी भी हमारी लड़ाई में सहयोग करेंगे आप सभी साथियों को मजबूत करेंगे और आप लोगों की मांगों को लेकर आपके आंदोलन को तब तक मजबूत बनाए रखेंगे जब तक आप लोगों के पक्ष में कोई ठोस निर्णय सरकार नहीं देती है।
7 मार्च को लखनऊ होगी ओर 14 मार्च जनपद मेरठ महापंचायत शिक्षा मित्र।
आदरणीय
शिव कुमार शुक्ला जी
रमेश मिश्रा जी लखनऊ महराजगंज
धर्मेन्द्र पाण्डेय जी सीतापुर
सतीश बालियान मुजफ्फरनगर
वीरेंद्र छोकर जी जिला मथुरा
सचिन क्रांति बागपत
सीमा सिह कानपुर
त्रिभुवान जी कानपुर
दीपनारायण सिंह मऊ
शिवदान चौहान मऊ
मईनुदीन जी बागपत
सुभाष जी बागपत
कपिल भारद्वाज बागपत
आशीष चोधरी जी बागपत
🙏
क्रांति महापंचायत सदस्य
Wednesday 24 February 2021
सरकार क्या कर रही है,क्या करेगी,कब करेगी , कैसे करेगी, कितना करेगी? किसको पता है ?
मुझे नही पता कि सरकार क्या कर रही है,क्या करेगी,कब करेगी , कैसे करेगी, कितना करेगी???
लेकिन सभी ग्रुपों पर खुद अपने आपको श्रेष्ठ साबित करने के चक्कर में सभी साथियों को घनचक्कर बनाने वाले दयालुओं की बढ़ती संख्या को देखकर अचम्भित जरूर हो रहा हूँ।मेरे मन मे कुछ अनुत्तरित प्रश्न हैं जिन्हें मैं आप लोगों के साथ साझा कर रहा हूँ।
(१)नई शिक्षा नीति में मानदेय का कोई प्रावधान ही नही है तो मानदेय बढोत्तरी पर सरकार क्या जबाब देती???
(२) मानदेय बढोत्तरी की संभावना को नकारने की श्रंखला में बेसिक शिक्षा मंत्री जी द्वारा अवगत कराया गया कि ये किसी विशेष कारण से मानदेय बढोत्तरी नही की गई है।मंत्री जी ने ऐसा किसलिए कहा???
(३)शाम होते होते विजय किरण आनन्द का एक पत्र बेसिकशिक्षा अधिकारियों को भेज गया उसमे अबिलम्ब 20 फरवरी 2021 तक की शुद्ध और निश्चित संख्या देने को कहा गया है।अब निकालने या मानदेय वृद्धि न करने के लिये तो ऐसी कोई सूचना उक्त प्रपत्र पर तो माँगी नही गयी होगी।तो फिर यह सूचना आनन फानन में क्यों माँगी गयी है????
क्या होगा यह तो भविष्य के गर्भ में है लेकिन मंत्री जी के स्पष्टीकरण से एक बात तो साफ हो गयी है कि सिर्फ मानदेय बढाने के सब्जबाग दिखाने वाले,12 महीने 62 साल सम्मानजनक मानदेय दिलाने वाले नेताओं के मुँह पर एक जोरदार तमाचा जरूर पड़ा है।इससे यह तो स्पष्ट हो ही गया कि मानदेय वृद्धि का दम्भ भरने वाले नेताओं की सिट्टी पिट्टी जरूर गुम हो गयी होगी।
इस नाजुक दौर में,आत्मविश्वास की कमी से जूझ रहे पीड़ित शिक्षामित्र परिवार से करुण याचना है कि खुद और अपने परिवार को टूटने से बचाएं।वर्तमान परिस्थितियों का और मेरे द्वारा किये गए प्रश्नों का यदि विश्लेषण तल्लीनता और संयम से करेंगे तो यह परिलक्षित होगा कि हमारा भविष्य उज्ज्वल होगा।
एक रहें,बचे रहें,अवसादमुक्त रहें,परिवार के साथ रहें और खुश रहें।
शिक्षामित्रों का आज का ज्वलन्त मुद्दा यही है । क्या करे पीड़ित शिक्षामित्र ?
ज्वलंत मुद्दा नम्बर 01:- जैसा कि प्रदेश सरकार ने विगत चार वर्षों से 1.5 लाख पीड़ित शिक्षामित्रो को यह कहते हुए गुमराह करती रही कि इनके साथ सपा ने धोखा दिया है और हमने इनका मानदेय 3500/- से बढ़ाकर 10,000/- कर दिया है? यह कभी नहीं अनुभव किया और कहा कि इनके भविष्य के साथ वास्तव में बहुत बड़ा सरकार की गलत नीतियों के कारण धोखा हुआ है? पूर्व सरकार ने इनका भविष्य सुरक्षित कर दिया था लेकिन कानूनी खामियों के कारण कोर्ट से हार हुई है और हमें इनका भविष्य सुरक्षित करने लिए कोई वैधानिक मार्ग निकाल कर के इनका भविष्य सुरक्षित करना चाहिए?
मुद्दा नम्बर - 2:- सभी संगठनों के शीर्ष नेताओं को अपना - अपना ईगो, आम पीड़ित शिक्षामित्रो के लिए परित्याग करके तुरंत एक अति महत्वपूर्ण बैठक लखनऊ में एक उपयुक्त स्थान पर बुलानी चाहिए और ऐसी योजना बनाई जानी चाहिए कि योगी सरकार पुन : 1.5 लाख पीड़ित शिक्षामित्रो का भविष्य सुरक्षित करने के लिए विवश हो जाए?*
मुद्दा नम्बर - 3:- यदि अब वर्तमान सरकार के गतिमान अन्तिम वर्ष में सभी शीर्ष संगठनों के नेताओं के साथ साथ सभी आम पीड़ित शिक्षामित्र को अपना भविष्य सुरक्षित करने हेतु वर्तमान सरकार को पुनः कुछ अच्छा सोचने के बाध्य नहीं कर पाये तो पुन : इनसे कुछ अच्छा करने की अपेक्षा भविष्य में कभी भी मत करना?
Monday 15 February 2021
इंसाफ की तलाश में, प्रदेश का 1.5 लाख पीड़ित शिक्षामित्र?
Gopal Singh 22:10 Shikshamitra Association Posts, Shikshamitra Samachar No comments
जैसा कि जहां योगी सरकार अपना आम बजट 22 फरवरी को विधानसभा में पेश करने एवं वही अपनी सरकार के विगत चार वर्षों की उपलब्धियों की गाथाओं का प्रदर्शन 19 मार्च को करने हेतु उसकी तैयारी दिन - रात गतिमान है, वहीं दूसरी ओर प्रदेश का 1.5 लाख पीड़ित शिक्षामित्र योगी सरकार की ओर विगत चार वर्षों से इंसाफ के लिए हर पल उनकी ओर निहार रहा हैं
परन्तु अभी तक कुछ भी स्पष्ट नहीं हो पाया है कि यह सरकार अब अपने अन्तिम वर्ष में कुछ राहत देगी या पूर्व के वर्षों की भांति गतिमान वर्ष भी केवल आश्वासन देने के पश्चात बिता देगी? फिलहाल उम्मीद में हर आकांक्षी जीवित रहता है, गतिमान वर्ष में मुख्यमंत्री जी से पीड़ित शिक्षामित्रो को बहुत अधिक आपेक्षायें है लेकिन उक्त आपेक्षायें वास्तविकता में कब तक परिवर्तित होगी? इसे मुख्यमंत्री जी के अतिरिक्त सम्भवतः कोई भी नहीं जानता होगा?
बहरहाल अब मुख्यमंत्री जी से निरन्तर संवाद स्थापित व विनती करने के अतिरिक्त और कोई भी विकल्प सम्भवतः नहीं बच रहा है?
उक्त परिस्थिति एवं पीड़ा के साथ
जय महाकाल
Saturday 13 February 2021
19 मार्च तक शिक्षामित्रों को करना होगा अपना पूर्ण प्रयास : मा0 मुख्यमंत्री जी के द्वारा हो घोषणा
यूपी में हलचल
जैसा कि इलाहाबाद हाई कोर्ट की पूर्ण पीठ ने यूपी में 30 अप्रैल तक पंचायत चुनाव कराने का आदेश दिया था, उसी के क्रम में प्रदेश में पंचायत चुनाव की तैयारी गतिमान है, स्मरण हो कि योगी सरकार अपना आम बजट 22 फरवरी को एवं अपनी सरकार की चार साल पूरे होने का जश्न 19 मार्च को मनायेगी और उसी के अनुसार चुनाव आयोग 26 मार्च तक आचार संहिता लगा देगा,
यूपी बोर्ड की परीक्षा दिनांक - 24 अप्रैल से शुभारंभ होगी एवं उक्त तिथि के पूर्व पंचायत चुनाव भी सम्पन्न हो जाएगे, फिलहाल अभी तक योगी सरकार के द्वारा प्रदेश के सभी पीड़ित शिक्षामित्रो की समस्याओं का समाधान करने को लेकर किसी भी प्रकार का अधिकृत रूप में फैसला नहीं हो पाया है, हो सकता है कि योगी सरकार पंचायत चुनाव की आचार संहिता लगने के पूर्व उक्त पीड़ितों के साथ भी कुछ दया कर दे?
जैसा कि ट्विटर पर प्रदेश के सक्रिय पीड़ित शिक्षामित्रो ने दिनांक - 13 फरवरी को अपनी पीड़ा, योगी सरकार के जेहन में लाने का शत प्रतिशत प्रयास किया, और चरम पर भी ट्रेंड किया गया, उक्त मिशन में प्रतिभाग करने वाले सभी सक्रिय पीड़ित शिक्षामित्रो को ह्रदय से कोटि कोटि शुक्रिया एवं आग्रह भी है कि अभी निरन्तर सफलता मिलने तक नित गतिमान रखने की आवश्यकता आपेक्षित है,
फिलहाल दिनांक - 19 मार्च के पश्चात कभी भी प्रदेश में पंचायत चुनाव की आचार संहिता लगना सुनिश्चित है एवं यह भी सुनिश्चित है कि 20 अप्रैल के पूर्व उक्त चुनाव भी सम्पन्न हो जाएगा, खैर हम सभी का शत प्रतिशत प्रयास होना चाहिए कि जब दिनांक - 19 मार्च को मुख्यमंत्री जी अपनी सरकार की उपलब्धियों का प्रदर्शन करे तो उक्त सूची में प्रदेश के सभी पीड़ित शिक्षामित्रो का भविष्य सुरक्षित होने की भी जिक्र होना चाहिए?
उक्त आग्रह के साथ
जय महाकाल